RPSC Paper Leak लोक सेवा आयोग द्वारा आरपीएससी द्वितीय श्रेणी शिक्षक भर्ती परीक्षा का सामान्य ज्ञान (जीके) का पेपर 23 दिसंबर 2022 शुक्रवार को रात 2 बजे लीक हो गया। आरपीएससी जीके का पेपर रात को अजमेर से जयपुर होते हुए जालोर तक पहुंचा दिया गया। यह जालोर सहित अन्य जिलों के उदयपुर में परीक्षा देने आ रहे 7 युवतियों सहित 46 अभ्यर्थियों को 10-10 लाख में बेचा गया। कुछ से राशि ले ली गई, बाकी से लेनी बाकी थी।
पेपर लीक होने पर छात्रों में काफी रोष था, कई युवतियां रो रही थीं। आरपीएससी पेपर लीक का मास्टर माइंड जोधपुर निवासी सुरेश विश्नोई है, जो जालोर जिले में सरकारी स्कूल का प्रिंसिपल है। उसके जयपुर निवासी दोस्त सुरेश ढाका और ढाका के दोस्त भूपेंद्र का नाम पेपर लीक में सामने आया है।
आरपीएससी का 9वीं बार पेपर आउट हुआ है। आयोग अध्यक्ष संजय श्रोत्रिय ने बताया- लीक का इनपुट सुबह 8 बजे मिला। डीजीपी से पुष्टि होने पर पेपर स्थगित कर दिया गया। इसमें 3.74 लाख अभ्यर्थी बैठने थे। पेपर अब 29 जनवरी को होगा। सचिव हरजीलाल अटल ने बताया- विस्तृत कार्यक्रम अब जारी होगा। वहीं, उदयपुर एसपी विकास शर्मा ने दावा कर चौंका दिया कि पेपर लीक की सूचना आरपीएससी, एसओजी और उदयपुर पुलिस को थी। इधर, गिरोह की प्लानिंग फुल प्रूफ थी।
पेपर लीक का कनेक्शन
पेपर लीक का कनेक्शन जयपुर से होते हुए जालोर तक जुड़ा है। उदयपुर पुलिस ने जिन अभ्यर्थियों को पकड़ा, उनमें अधिकतर जालोर जिले के हैं। बस भी सांचौर के हेमागुड़ा गांव की है। उदयपुर एसपी विकास शर्मा के अनुसार पेपर लीक का मास्टरमाइंड सुरेश विश्नोई है। उसी ने पूरा प्लान बनाया और बस किराए पर ली। विश्नोई के साथ पकड़ा उसका साथी भजनलाल डॉक्टर है। बस में प्रिंसिपल विश्नोई के नेतृत्व में अभ्यर्थियों को पेपर रटाया जा रहा था। पुलिस सूत्रों के अनुसार सुरेश ढाका व भूपेंद्र सारण ने पेपर जयपुर से वाट्सएप के जरिए प्रिंसिपल विश्नोई को भेजा। उसने भजनलाल के जरिए सबको पहुंचाया। पुलिस को शक है कि दोनों को पेपर आरपीएससी से ही मिला। प्रिंसिपल सुरेश विश्नोई व बस संचालक पीराराम दोनों एक ही गांव के होने के साथ एक ही गौत्र के हैं। इसलिए सुरेश विश्नोई ने अपने रिश्तेदार की बस किराए पर ली। आरोपी बस को उदयपुर-मंडार चलाते थे। ऐसे में जालोर के अभ्यर्थियों को भी मंडार बुलाते थे। मंडार से बस में बैठाकर पेपर बांटते थे।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा - सामान्य ज्ञान की परीक्षा एहतियातन निरस्त की है। बाकी परीक्षाएं यथावत रहेंगी। सरकार किसी भी युवा के साथ अन्याय नहीं होने देगी। दोषियों को सख्त सजा दी जाएगी।
शिक्षा मंत्री बीडी कल्ला ने कहा- 4 सरकारी कर्मचारियों प्रिंसिपल सुरेश कुमार, वरिष्ठ अध्यापक रावताराम, कनिष्ठ सहायक पुखराज, द्वितीय श्रेणी अध्यापक भागीरथ को निलंबित किया गया है। जनवरी 2019 से अब तक 237 गिरफ्तारियां की हैं।
चिकित्सा मंत्री परसादीलाल मीणा ने कोटा में मीडिया से बातचीत में कहा- पेपर लीक हुआ तो हमने परीक्षा रद्द कर दी.. हमने छिपाया नहीं। हर स्टेट में होती है। कानूनी कार्रवाई करेंगे, गोली थोड़े ही मार देंगे?
डीजीपी उमेश मिश्रा ने कहा- आरोपियों पर एनएसए के तहत कार्रवाई पर विचार किया जा रहा है। संपत्ति जब्त करने के लिए पासा कानून में संशोधन सुझाया जा रहा है। इसमें एक वर्ष तक हिरासत में रखा जा सकता है।
सजा के प्रावधानों में व्यवधान
हर मामले में पुलिस-एसओजी ने मास्टरमाइंड व गुर्गा बताकर गिरफ्तारियां की लेकिन एक को भी सजा नहीं हुई। इस साल मार्च में सख्त नकल विराेधी कानून बना। इसमें 10 लाख से 10 करोड़ रु. तक जुर्माने का प्रावधान है। अपराध साबित होने पर संपत्ति जब्त, 10 साल तक सजा का प्रावधान है। फिर भी भी 3 भर्तियों के पेपर लीक हो गए। आईपीसी की 420, 467 व 468 व सार्वजनिक परीक्षा अधिनियम में केस होता था। इनमें 7 व 3 साल सजा का प्रावधान, पर किसी को नहीं हुई।
12 साल में पेपर लीक
2ग्रेड टीचर - 2022
वनरक्षक - 2022
कांस्टेबल - 2022
जेईएन - 2022
रीट - 2021
जेईएन - 2020
कांस्टेबल - 2018
लाइब्रेरियन - 2018
जेल प्रहरी - 2016
आरपीएमटी - 2014
ग्रेड थर्ड टीचर - 2013
एलडीसी - 2013
आरएएस - 2013
क. लेखाकार - 2013
एपीपी - 2011
पीटीआई ग्रेड2 - 2011
सब इंस्पेक्टर - 2010