Gandhi Jayanti Essay in Hindi: गांधी जयंती हर साल 2 अक्टूबर को दुनिया भर में हर्षोल्लास के साथ मनाई जाती है। इस दिन भारत के सभी स्कूल, कॉलेज और सरकारी दफ्तर की छुट्टी रहती है। लेकिन गांधी जयंती मनाने के लिए स्कूल और कॉलेज में कई प्रकार के कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं जैसे कि निबंध लेखन, क्वीज कॉम्पीटिशन और भाषण प्रतियोगिता।
आज के इस लेख में हम गांधी जयंती पर कक्षा 1, 3 और 5 के लिए निंबध लेकर आए हैं जिससे कि छात्र आसानी से गांधी जयंती पर निबंध याद कर प्रतियोगिता में भाग लेकर उसे जीत सकें। तो चलिए देखते हैं कैसे लिखें कक्षा अनुसार गांधी जयंती पर निबंध-
कक्षा 1 के लिए गांधी जयंती निबंध
गांधी जयंती हर साल 2 अक्टूबर को मनाई जाती है। यह दिन हमारे राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के जन्मदिन के रूप में जाना जाता है। महात्मा गांधी का पूरा नाम मोहनदास करमचंद गांधी था, लेकिन लोग उन्हें प्यार से 'बापू' भी कहते हैं। उन्होंने हमारे देश को अंग्रेजों की गुलामी से मुक्त कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
गांधी जी ने सत्य और अहिंसा के मार्ग पर चलते हुए देश को आज़ादी दिलाई। उन्होंने हमेशा हमें सिखाया कि सच बोलना और बिना हिंसा किए अपने अधिकारों की लड़ाई लड़ना चाहिए। गांधी जी हमेशा सादगी से जीवन जीते थे। वे सफेद धोती पहनते थे और चरखे से कपड़ा बुनते थे। उनके पास बहुत सारा पैसा और बड़ा घर नहीं था, फिर भी लोग उन्हें बहुत प्यार और सम्मान करते थे। वे हमेशा गरीबों और ज़रूरतमंदों की मदद करते थे। उनका कहना था कि सच्चा इंसान वही है जो दूसरों की मदद करता है और अपने देश से प्यार करता है।
गांधी जी का जीवन हमें यह सिखाता है कि हमें हमेशा सत्य, अहिंसा और सादगी के मार्ग पर चलना चाहिए। अगर हम उनके आदर्शों का पालन करेंगे तो हमारा जीवन भी सफल होगा। गांधी जयंती मनाने का उद्देश्य भी यही है कि हम उनके दिखाए हुए रास्ते पर चलें और अपने देश की सेवा करें। यही उनके प्रति हमारी सच्ची श्रद्धांजलि होगी।
कक्षा 3 के लिए पर गांधी जयंती निबंध
गांधी जयंती 2 अक्टूबर को महात्मा गांधी के जन्मदिन के रूप में मनाई जाती है। महात्मा गांधी को 'राष्ट्रपिता' और 'बापू' के नाम से जाना जाता है। उनका पूरा नाम मोहनदास करमचंद गांधी था। उन्होंने भारत को अंग्रेजों की गुलामी से आज़ाद कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनके नेतृत्व में भारतीय स्वतंत्रता संग्राम ने अहिंसा के बल पर बड़ी सफलता पाई।
गांधी जी सत्य और अहिंसा के पक्के समर्थक थे। उनका मानना था कि हिंसा से कुछ हासिल नहीं किया जा सकता, बल्कि प्रेम और शांति से दुनिया को बदला जा सकता है। उनके इन्हीं विचारों ने लाखों लोगों को प्रभावित किया। उन्होंने दुनिया को सिखाया कि बिना हिंसा के भी किसी बड़े लक्ष्य को पाया जा सकता है।
गांधी जयंती पर स्कूलों, कॉलेजों और सरकारी संस्थानों में विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम होते हैं। बच्चे गांधी जी के जीवन और उनके योगदान पर निबंध लिखते हैं, चित्रकला प्रतियोगिताओं में भाग लेते हैं और उनके आदर्शों को याद करते हैं। इस दिन लोग गांधी जी की प्रतिमा पर फूल चढ़ाकर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं। यह दिन हमें उनके योगदान और बलिदानों को याद करने का अवसर देता है।
महात्मा गांधी का जीवन सादगी, आत्म-संयम और सत्य की मिसाल है। वे हमेशा अपने हाथों से काम करना पसंद करते थे और चरखे से सूत कातते थे। उनका मानना था कि हमें अपने काम खुद करने चाहिए और दूसरों की मदद करनी चाहिए। वे गरीबों और कमजोर लोगों के अधिकारों के लिए हमेशा खड़े रहते थे। उनका जीवन हमें यह सिखाता है कि सच्चाई, मेहनत और अनुशासन से हम किसी भी कठिनाई का सामना कर सकते हैं। गांधी जयंती के अवसर पर हमें उनके आदर्शों को अपनाने की कोशिश करनी चाहिए।
कक्षा 5 के लिए पर गांधी जयंती निबंध
गांधी जयंती 2 अक्टूबर को महात्मा गांधी के जन्मदिन के रूप में पूरे भारत में मनाई जाती है। महात्मा गांधी हमारे राष्ट्रपिता हैं, और उन्होंने हमारे देश को अंग्रेजों की गुलामी से मुक्त कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। उनका जन्म 2 अक्टूबर 1869 को पोरबंदर, गुजरात में हुआ था। गांधी जी का पूरा नाम मोहनदास करमचंद गांधी था, लेकिन हम सभी उन्हें प्रेमपूर्वक 'बापू' कहते हैं।
महात्मा गांधी ने सत्य और अहिंसा के मार्ग पर चलकर भारत को स्वतंत्रता दिलाई। उन्होंने हमें सिखाया कि बिना हिंसा के भी हम अपने अधिकार प्राप्त कर सकते हैं। उन्होंने विदेशी वस्त्रों का बहिष्कार किया और लोगों को स्वदेशी अपनाने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने खुद भी चरखा चलाकर सूत काता और लोगों से स्वदेशी वस्त्र पहनने की अपील की। उनका जीवन बहुत सादा था, और वे हमेशा गरीबों की मदद के लिए तैयार रहते थे।
गांधी जी ने स्वतंत्रता संग्राम के दौरान कई आंदोलनों का नेतृत्व किया, जिनमें से सबसे प्रसिद्ध था 'दांडी मार्च'। यह मार्च अंग्रेजों के नमक कानून के खिलाफ था, जिसमें गांधी जी ने अपने अनुयायियों के साथ नमक बनाया। यह आंदोलन अहिंसा पर आधारित था और इसने पूरे देश में आज़ादी की भावना को मजबूत किया। गांधी जी का जीवन और उनके संघर्ष हमें यह सिखाते हैं कि सच्चाई और दृढ़ संकल्प से किसी भी लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है।
गांधी जयंती पर पूरे देश में विशेष कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। स्कूलों, कॉलेजों और सरकारी संस्थानों में गांधी जी के जीवन और उनके योगदान पर आधारित निबंध प्रतियोगिताएं, भाषण और नाटक होते हैं। इस दिन लोग गांधी जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण करते हैं और उनके आदर्शों को याद करते हैं। संयुक्त राष्ट्र ने 2 अक्टूबर को 'अंतर्राष्ट्रीय अहिंसा दिवस' के रूप में भी मान्यता दी है, जिससे यह दिन और भी महत्वपूर्ण हो जाता है।
गांधी जी का जीवन हमें यह सिखाता है कि सादगी, आत्म-संयम और सत्य के मार्ग पर चलकर हम एक बेहतर समाज का निर्माण कर सकते हैं। उनका संदेश आज भी उतना ही प्रासंगिक है जितना कि उनके समय में था। गांधी जयंती के अवसर पर हमें उनके आदर्शों का पालन करने का संकल्प लेना चाहिए और उनके दिखाए गए रास्ते पर चलने की कोशिश करनी चाहिए। यही गांधी जी के प्रति हमारी सच्ची श्रद्धांजलि होगी।