मेडिसिन का क्षेत्र बहुत बड़ा क्षेत्र है, लेकिन आपको यह तय करना होगा की आप मेडिकल की किस लाइन में जाना चाहते हैं। जिन लोगों को जानवरो से प्यार है और उनकी केयर और स्वास्थ्य के बारे में सोचते हैं, साथ ही वह डॉक्टर बनने की इच्छा भी रखते हैं तो वह वेटरनरी डॉक्टर बन सकते हैं। ये उनके लिए एक अच्छा विकल्प है। लेकिन अक्सर ऐसा होता है कि जो आप बनना चाहते हैं, उसके बारे में आपके पास पर्याप्त जानकारी नहीं होती है। जिसके कारण कई छात्र अपने सपनों को पूरा नहीं कर पाते हैं। उसी तरह से वेटरनरी डॉक्टर बनने की इच्छा रखने वाले छात्र जो अपना भविष्य इसी क्षेत्र में बनाना चाहते हैं उनको इस लेख के माध्यम से वेटनरी डॉक्टर बनने की पूरी जानकारी दी गई है कि कैसे आप वेटरनरी डॉक्टर बन कर पशुओं की सेवा कर सकते हैं और एक शानदार करियार बना सकते हैं।
वेटरनरी डॉक्टर (पशु चिकित्सक) बनने के लिए छात्रों को वेटरनरी साइंस (पशु चिकित्सा विज्ञान) की पढ़ाई करनी होती है। जिसके छात्र कक्षा 10वीं और 12वीं के बाद भी कर सकते हैं। भारत के साथ- साथ भारत के बाहर विदेशों में भी कई कॉलेज हैं जो इस कोर्स को ऑफर करते हैं आइए आपको उनके बारे में जानकारी दें। साथ ही आपको बताएं की इस क्षेत्र के करियर ऑप्शन क्या है।
वेटरनरी डॉक्टर बनने के लिए स्किल्स (कौशल)
1. पालतू जानवरों के मालिकों के साथ सहायक बातचीत को सुविधाजनक बनाने के लिए अच्छा रवैया और बेहतर संचार कौशल।
2. आश्वासन और समर्थन देने के लिए पालतू जानवरों के मालिकों के प्रति एक सहानुभूतिपूर्ण और वास्तविक दृष्टिकोण।
3. कुशल समय प्रबंधन और एक संगठनात्मक व्यक्तित्व यह सुनिश्चित करने के लिए कि क्लिनिक और अस्पतालों में चिकित्सा संचालन सुचारू रूप से चलाया जाता है।
4. घायल और बीमार जानवरों के साथ व्यवहार करते समय निदान और सटीकता के लिए तकनीकी मशीनरी और प्रयोगशाला उपकरणों को संभालने की तकनीकी योग्यता।
5. पशु कल्याण और भलाई के लिए एक जुनून।
पशु चिकित्सकों (वेटरिनेरीअन) के प्रकार
वेटरनरी साइंस कोर्स के बारे में जानने से पहले आपके लिए ये जानना आवश्यक है कि वेटरिनेरीअन के प्रकार कितने है इससे आपको इस क्षेत्र की अच्छी जानकारी मिल पाएगी।
साथी पशु वेटरिनेरीअन - साथी पशु का अर्थ यहां उन पशुओं से हैं जो पालतू होते हैं जैसे- कुत्तें, बिल्लियां, पक्षि आदि। ये वेटरिनेरीअन इन पशुओं को उपचार प्रदान करते हैं।
खाद्य पशु वेटरिनेरीअन- खाद्य पशु से यहां अर्थ खेत में रहने वाले पशु जैसे भेड़ और सुअर आदि। खाद्य पशु वेटरिनेरीअन इन पशुओं को के स्वास्थ्य के लिए कार्य करते हैं।
खाद्य सुरक्षा और निरीक्षण वेटरिनेरीअन- खाद्य सुरक्षा और निरीक्षण वेटरिनेरीअन जानवरों और मनुष्यों के बीच फैलने वाले रोगो की रोकथाम के लिए कार्य करते हैं।
घोडे़ के वेटरिनेरीअन- घोड़ो के स्वास्थ्य और चिकित्सा का ध्यान रखते हैं।
रिसर्च वेटरिनेरीअन- रिसर्च वेटरिनेरीअन नई निदान और शल्य चिकित्सा तकनीकों को खोजने के लिए रिसर्च करते हैं।
10वीं के बाद कैसे बने वेटरनरी डॉक्टर
कई ऐसे छात्र होते हैं जो कक्षा 10वीं के बाद समय में ही अपने करियर का चयन कर लेते हैं और ठान लेते हैं कि वह क्या बनना चाहते हैं। उनमें से जो छात्र वेटनरी डॉक्टर बनना चाहते हैं वर वेटनरी में कई कोर्स कर सकते हैं जिसकी जानकारी कुछ इस प्रकार है।
कक्षा 10वीं के बाद छात्रों जो छात्र वेटरनरी डॉक्टर बनने की इच्छा रखते हैं वह नीचे दिए कोर्स के लिए आवेदन कर सकते हैं। जो इस प्रकार-
- डिप्लोमा इन वेटरनरी फार्मेसी
- डिप्लोमा इन वेटरनरी लैब टेक्निशियन
- डिप्लोमा इन वेटरनरी हसबेंडरी
- डिप्लोमा इन वेटरनरी असिस्टेंट
ऊपर दिए इन कोर्सों को भारत के कई संस्थान ऑफर करते हैं जिनकी सूची कुछ इस प्रकार हैं।
- इंडियन वेटरनरी रिसर्च इंस्टीट्यूट, बरेली
- श्री वेंकटेश्वर वेटरनरी विश्वविद्यालय, तिरुपति
- वेटरनरी कॉलेज, बैंगलोर
- तमिलनाडु वेटरनरी और वेटरनरी साइंस विश्वविद्यालय, तमिलनाडु
इन संस्थानों से अपनी पढ़ाई पूरी करने के बाद छाभ अखिल भारतीय पूर्व पशु चिकित्सा परीक्षा में शामिल हो सकते हैं इस परीक्षा को पास करने के बाद छात्र वेटरनरी साइंस में बैचलर की डिग्री भी प्राप्त करने के लिए आगे की पढ़ाई कर सकते हैं।
कक्षा 12वीं के बाद कैसे बने वेटरनरी डॉक्टर
जो छात्र कक्षा 12वीं पूरी करने के बाद वेटरनरी डॉक्टर बनने के सापना देखते हैं वह नीचे दिए वेटरनरी साइंस के बैचेलर कोर्सों में प्रवेश ले सकते हैं और अपना ये सपना पूरा कर सकते हैं। सभी जानते हैं की वेटरिनेरीअन/ वेटरनरी डॉक्टर बनने के लिए वेटरनरी साइंस कोर्स करना आवश्यक है। बैचलर में भी कई कोर्स हैं जो छात्र कर सकते हैं जिसकी सूची नीचे दी गई है।
- बैचलर ऑफ वेटरनरी साइंस
- बैचलर ऑफ वेटरनरी साइंस (वेटरनरी पैथलॉजी)
- बैचलर ऑफ वेटरनरी साइंस (पशु पोषण)
- बैचलर ऑफ वेटरनरी साइंस (पशु आनुवंशिकी और प्रजनन)
- बैचलर ऑफ वेटरनरी साइंस (पशु चिकित्सा सूक्ष्म जीव विज्ञान)
इसी के साथ इन कोर्स के माध्यम से छात्रों को कई नई चीजों को एक्सप्लोर करने का मौका मिलता है। इन कोर्सों में छात्रों को कई तरह की गतिविधियों में शामिल किया जाता है जिससे छात्रों को बेहतर तरीके से सीखने को मिलता है। जिससे आपको इस क्षेत्र में अच्छा अनुभव प्राप्त होता है।
डीवीएम प्रोग्राम में प्रवेश
जो छात्र विदेश के डीवीएम प्रोग्राम में प्रवेश लेना की इच्छा रखते हैं उन छात्रों को इसके लिए आयोजित होने वाली प्रवेश परीक्षा जीआरआई देनी होगी। जीआरआई टेस्ट में मूल रूप से आपको मैखिक, मात्रात्मक और विश्लेषणात्मक कौशल का मुल्यांकन किया जाता है। इस परिक्षा में आपको ये सुनिश्चित करना है कि आपको न्यूनतम आवश्यत स्कोर प्राप्त कर सकें।
जीआरई की परीक्षा के लिए बेहतर तयारी करने के लिए और परीक्षा में अच्छा स्कोर प्राप्त करने के लिए छात्र चाहें तो वह एजुकेशनल टेस्टिंग सर्विस के लिए भी जा सकते हैं। इसमें छात्रों को पढ़ाई के लिए आवश्यक सामग्री प्रदान की जाती है और अभ्यास के लिए प्रैक्टिस टेस्ट भी दिए जाते हैं।
डीवीएम प्रोग्राम के विषय
- ग्रॉस ऑटोनॉमी
- पैरासाइटोलॉजी
- रेडियोलॉजी
- फार्मोकोलॉजी
- ऑप्थेल्मोलॉजी
- वेटरनरी साइकोलॉजी
- एनिमल बिहेवियर
- एनिमल हेल्थ एंड डिजीज
- फूड एनिमल मेडिसिन
- वेटरनरी प्रैक्टिस
डीवीएम प्रोग्राम
डीवीएम प्रोग्राम वेटनरी साइंस पढ़ने वाले छत्रों के लिए आवश्यक है। ये प्रोग्राम पशु शरीर रचना विज्ञान और शरीर क्रिया विज्ञान, पशु चिकित्सा तंत्रिका विज्ञान, इम्यूनोलॉजी, जूलॉजी, रेडियोलॉजी और पैरासिटोलॉजी जैसे कई विभिन्न विषयों से संबंधित है।
डीवीएम प्रोग्राम 4 साल का प्रोग्राम है। इसमें 3 साल प्री-क्लिनिकल ट्रेनिंग शामिल होती है। इसके अंतिम वर्ष में यानी चौथे साल में छात्रों को पशुओं के साथ काम करने का मौका मिलता है। साथ में एनेस्थिसियोलॉजी, कार्डियोलॉजी, डर्मेटोलॉजी, डेंटिस्ट्री और सर्जरी से जुड़े विभिन्न प्रकार के बारे में भी जानकारी प्राप्त होती है।
वेटरनरी डॉक्टर बनने के लिए विदेश के कॉलेज
- रॉयल वेटरनरी कॉलेज, लंदन विश्वविद्यालय
- कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय, डेविस
- यूट्रेक्ट विश्वविद्यालय
- कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय
- कर्नेल विश्वविद्यालय
- एडिनबर्ग विश्वविद्यालय
- गुएल्फ़ी विश्वविद्यालय
- ओहियो स्टेट यूनिवर्सिटी
- सिडनी विश्वविद्यालय
- लिवरपूल विश्वविद्यालय
भारत में वेटरनरी डॉक्टर कैसे बने
भारत में वेटरनरी डॉक्टर बनने के लिए छात्रों को अच्छे वेटनरी साइंस कोर्स ऑफर करने वाले संस्थान में प्रवेश लेना होगा। वेटनरी साइंस ऑफर करने वाले भारतीय कॉलेज की सूची नीचे दी गई है। वेटरनरी डॉक्टर बनने के लिए आपको वेटरनरी साइंस में बैचलर की डिग्री प्राप्त करनी आवश्यक है। लेकिन छात्रों को बैचलर की डिग्री में प्रवेश लेने के लिए एआईपीवीटी यानी अखिल भारतीय पूर्व पशु चिकित्सा परीक्षा को पास करना होगा। उसमें प्राप्त रैंक के आधार पर आप अपने कोर्स में प्रवेश ले सकते हैं।
बैचलर ऑफ वेटरनरी साइंस- बीवीएससी के बाद यदि आप आगे भी पढ़ाई करने की इच्छा रखते हैं तो एमडी इन वेटरनरी साइंस कोर्स के लिए आवेदन कर सकते हैं। एमडी इन वेटरनरी साइंस कोर्स वेटरनरी डॉक्टर में स्पेशलाइजेशन प्रदान करता है। इसके बाद छात्रों को करीब 3 महीने की क्लिनिकल ट्रेनिंग प्राप्त करनी होगी जो वो टीचिंग सर्विसेज क्लिनिकल कॉम्प्लेक्स से प्राप्त कर सकते हैं और इसके बाद वह वेटरनरी डॉक्टर की जॉब के लिए तयार हैं।
भारत में वेटरनरी साइंस कॉलेज
- भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान (आईवीआरआई), बरेली
- राष्ट्रीय डेयरी अनुसंधान संस्थान (एनडीआरआई), करनाल
- गोविंद बल्लभपंत कृषि और प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, पंतनगर
- पशु चिकित्सा महाविद्यालय और अनुसंधान संस्थान (वीसीआरआई), चेन्नई
- पशु चिकित्सा और पशु विज्ञान कॉलेज (सीवीएएस), बीकानेर
- मुंबई विश्वविद्यालय (एमयू)
- अन्नामलाई विश्वविद्यालय (एयू), चिदंबरम
- बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (बीएचयू)
- जूनागढ़ कृषि विश्वविद्यालय, जूनागढ़ी
वेटरनरी डॉक्टर की सैलरी
भारत में सरकारी वेटनरी डॉक्टर के तौर पर आप सालाना वेतन 22,65,000 प्रति वर्ष है।
भारत में वेटरनरी डॉक्टर की औसन सैलरी की बात करें तो वह सालाना 22,65,139 प्रतिवर्ष है।