कक्षा 12वीं के बाद हेल्थ सेक्टर में छात्रों के पास कई ऑप्शन होते हैं। इन ऑप्शनों केवल एलोपैथी ही नहीं होता है। होम्योपैथी और आयुर्वेदिक भी शामिल होता है। कितने ऐसे छात्र हैं जो आयुर्वेदा से प्राभाति होते हैं और इसी दिशा में आगे बढ़ने का फैसला लेते हैं। वर आयुर्वेदा में आयुर्वेदिक फार्मासिस्ट भी बन सकते हैं। आयुर्वेदिक फार्मासिस्ट बनने के लिए आप डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी भी कर सकते हैं। जिसकी जानकारी आज आपको इस लेख के माध्यम से देन वाले है। ये उन छात्रों के लिए एक अच्छा विकल्प है जो आयुर्वेदा से जुड़े रह कर कुछ करना चाहते हैं और इस क्षेत्र में अपना करियर बनाना चाहते हैं। आइए आपको डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी कोर्स के बारे में विस्तार से बताएं।
डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी
डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी कोर्स 1 से 2 साल का प्रोग्राम ह जो कक्षा 12वीं के बाद किया जा सकता है। इस कोर्स की समेस्टर सिस्टम के तरह बांटा गया है। ताकि छात्रों को पढ़ने में आसानी हो सके। रह समेस्टर के बाद परीक्षा आयोजन किया जाता है। कोर्स की फीस की बात करें तो इस कोर्स की फीस 40,000 रुपये से 1 लाख के बीच हो सकती है। कोर्स की फीस पूरी तरह से संस्थान आधारित होती है। इस कोर्स को पूरा करने के बाद छात्र कई अच्छे पदों पर कार्य कर साला का 2 से 6 लाख रुपये आराम से कमा सकता है। कोर्स करने के बाद छात्र किन प्रोफाइल के लिए आवेदन कर सकते हैं उसकी जानकारी लेख में नीचे दी गई है। डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी में छात्रों को आयुर्वेद का परिचय, फार्मास्युटिकल बायोलॉजी, फार्मास्युटिकल केमिस्ट्री, आयुर्वेदिक दवाओं और रसशास्त्र के साथ कई और विषयों का ज्ञान विस्तार में दिया गया है।
डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी : योग्यता
डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी कोर्स करने के लिए छात्रों को कक्षा 12वीं पास होना अनिवार्य है।
कक्षा 12वीं में छात्र के कम से कम 50 प्रतिशत अंक होने अनिवार्य है।
इसी के साथ छात्र को कक्षा 12वीं किसी भी प्रसांगिक (रेलीवेंट) स्ट्रीम से पास होना आवश्यक है।
डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी : सिलेबस
- आयुर्वेद का परिचय (इंट्रोडक्शन टू आयुर्वेदा)
- संस्कृत का परिचय (इंट्रोडक्शन टू संस्कृत)
- फार्मास्युटिकल बायोलॉजी
- फार्मास्युटिकल एक्सपर्ट
- फार्मास्युटिकल केमिस्ट्री
- फार्मास्युटिकल इंजीनियरिंग
- फार्माकोग्नॉसी
- पैथो फिजियोलॉजी
- फिजिकल फार्मेसी
- फार्मोकोलॉजी
- फार्माकोग्नॉसी
- टॉक्सिकोलॉजी
- द्रव्यगुण विज्ञानम्
- इंडस्ट्रियल फार्मेसी
- सरीरा क्रिया विज्ञानं
- भैषज्य कल्पना
- रसशास्त्र
- फर्सट एड
- दिल्ली डिग्री कॉलेज - डीडीसी हरियाणा
- देश भगत आयुर्वेदिक कॉलेज और अस्पताल पंजाब
- राष्ट्रीय स्वास्थ्य विज्ञान और अनुसंधान संस्थान - एनआईएचएसआर नई दिल्ली
- पंजाब पैरा मेडिकल साइंस - पीपीएमएस पंजाब
- प्रज्ञान अंतर्राष्ट्रीय विश्वविद्यालय - पीआईयू झारखंड
- इंटरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एजुकेशन एंड रिसर्च राजस्थान
- डीएस इंस्टीट्यूट ऑफ पैरामेडिकल साइंस उत्तर प्रदेश
- संजीवनी इंस्टिट्यूट ऑफ़ फार्मेसी पंजाब
- श्री बालाजी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल एंड पैरामेडिकल साइंस हरियाणा
- उत्तरांचल यूनानी मेडिकल कॉलेज और अस्पताल - UUMCH उत्तराखंड
- भारत इंस्टीट्यूट ऑफ पैरामेडिकल टेक्नोलॉजी नई दिल्ली
- इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ आयुर्वेदिक फार्मास्युटिकल साइंसेज गुजरात
- आयुर्वेदा स्पेशलिस्ट : 2 से 4 लाख रुपये सालाना
- मार्केटिंग स्पेशलिस्ट : 4 से 6 लाख रुपये सालाना
- मेडिकल रिप्रेजेंटेटिव : 2 से 3 लाख रुपये सालाना
- क्वालिटी कंट्रोल इंजीनियर : 3 से 4 लाख रुपये सालाना
- फार्मेसिस्ट : 2 से 3 लाख रुपये सालाना
- प्रोफेसर : 2 से 4 लाख रुपये सालाना
डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी : कॉलेज
डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी : जॉब प्रोफाइल और सैलरी
डिप्लोमा इन आयुर्वेदिक फार्मेसी : स्कोप
डिप्लोमा इन आयुर्वेदक फार्मेसी कोर्स करने के बाद छात्र कई कंपनियों के लिए कार्य कर सकते हैं। इसी के साथ ऊपर दिए पदों पर नौकरी कर साल का 2 से 6 लाख रुपये तक आराम से कमा सकते है। कोर्स पूरा करने के बाद जो छात्र नौकरी के अलावा उच्च शिक्षा के लिए आवेदन करना चाहते हैं वह इसी क्षेत्र में उच्च शिक्षा के लिए आवेदन कर सकते हैं। जिसके कोर्सेस की जानाकीर नीचे दी गई है।
डिप्लोमा इन फार्मेसी (डी.फार्म)
बी.फार्म. आयुर्वेद
बैचलर ऑफ आयुर्वेदिक मेडिकल साइंसेज