Who is UPSC Rank 2 Holder Garima Lohia: यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2022 का अंतिम रिजल्ट घोषित कर दिया गया है। पिछले साल की तरह ही इस साल भी शीर्ष स्थानों पर लड़कियों ने अपना दबदबा कायम रखा। यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2022 में दूसरी अखिल भारतीय रैंक (AIR 2) प्राप्त करने वाली गरिमा लोहिया को करियर इंडिया हिंदी की तरफ से शुभकामनाएं।
यूपीएससी रिजल्ट 2023 घोषित होने के बाद रैंक 2 हासिल करने वाली बिहार, बक्सर की गरिमा लोहिया ने अपने माता-पिता, राज्य समेत अपने शिक्षण संस्थान का नाम भी रोशन किया है। बता दें कि गरिमा लोहिया ने दिल्ली विश्वविद्यालय के किरोड़ीमल कॉलेज से शिक्षा प्राप्त की है।
रिजल्ट जारी होने के बाद मीडिया से बातचीत करते हुए गरिमा ने अपनी "सफलता का राज" बताया है। वह कहती है इन टिप्स का प्रयोग कर "कोई भी सफल बन" सकता है। तो आइए आपको आज इस लेख के माध्यम से बताएं यूपीएससी रैंक 2 गरिमा लोहिया का सफलता का मंत्र, जो सभी यूपीएससी सीएसई (UPSC CSE) परीक्षा की तैयारी करने वाले उम्मीदवारों की सहायता कर सकता है।
कौन है गरिमा लोहिया? (Who is Garima Lohia)
यूपीएससी सीएसई 2022 टॉप कर अखिल भारतीय रैंक 2 प्राप्त करने वाले गरिमा लोहिया का जन्म बिहार के बक्सर में एक व्यवसायी परिवार में हुआ था। उन्होंने मैट्रिक की शिक्षा बक्सर के वुडस्टॉक स्कूल से प्राप्त की और उसके बाद वह इंटरमीडिएट की शिक्षा प्राप्त करने के लिए बनारस गई। अपनी स्कूली शिक्षा प्राप्त कर उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय के किरोड़ीमल कॉलेज से वाणिज्य में स्नातक (अंडर ग्रेजुएशन) डिग्री प्राप्त की है। अपनी इसी शिक्षा को आधार बनाते हुए उन्होंने यूपीएससी सीएसई के वैकल्पिक विषय के तौर पर वाणिज्य और लेखा विषय को चुना।
उन्होंने ग्रेजुएशन करने के बाद यूपीएससी की तैयारी करनी शुरू की थी। बात तब की है जब पूरा भारत कोरोना महामारी से लड़ रहा था। वर्ष 2020 में, उसी समय के दौरान अपनी शिक्षा प्राप्त कर वह अपने घर चली गई थी। लॉकडाउन के समय का पूर्ण प्रयोग कर उन्होंने सिविल सेवा की तैयारी करने का फैसला लिया।
गरिमा ने सिविल सेवा के लिए कोचिंग की सहायता नहीं ली। केवल सेल्फ स्टडी पर निर्भर कर उन्होंने परीक्षा की तैयारी की और अपने दूसरे प्रयास में उन्हें सिविल सेवा की परीक्षा केवल पास ही नहीं की बल्कि टॉप स्कोर के साथ दूसरी रैंक भी प्राप्त की।
गरिमा ने अपने इंटरव्यू में कहा कि "अपने पहले प्रयास में, मैं प्रारंभिक परीक्षा उतीर्ण नहीं कर सकी थी। मैंने फिर से कड़ी मेहनत की और दूसरे प्रयास में परीक्षा उत्तीर्ण की। मैं परीक्षा पास करने की उम्मीद कर रही थी लेकिन मैंने दूसरी रैंक की कल्पना भी नहीं की थी।"
गरिमा बचपन से ही सिविल सेवा परीक्षा में शामिल होना चाहती थी। अपने इस सपने को साकार कर आज वह यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा में टॉप स्कोर करने वाले उम्मीदवारों की लिस्ट में शामिल हुई। उन्होंने इस बारे में पूछे जाने पर कहा कि "मैं बचपन से ही यूपीएससी परीक्षा में बैठने की इच्छुक थी। मुझे यकीन था कि मैं यूपीएससी परीक्षा में सफल हो जाऊंगी, लेकिन मैंने कभी नहीं सोचा था कि मैं दूसरी रैंक हासिल करूंगी। "
क्या है यूपीएससी रैंक 2 गरिमा लोहिया का Success Mantra ? (What is Garima Lohia UPSC Preparation Success Mantra)
यूपीएससी की तैयारी को लेकर पूछे जाने पर गरिमा ने कहा कि उन्होंने परीक्षा की तैयारी के लिए किसी भी विषय की कोचिंग नहीं ली है, उन्होंने परीक्षा की तैयारी सेल्फ स्टडी से की है। इसके साथ बेहतर तैयारी के लिए उन्होंने ऑनलाइन परीक्षा की तैयारी के लिए उपलब्ध सामग्री और YouTube की सहायता ली। उन्होंने अपनी तैयारी के लिए ज्यादा से ज्यादा ऑनलाइन संसाधनों का प्रयोग किया।
उन्होंने बताया कि सिविल सेवा की तैयारी की रणनीति को उन्होंने संतुलित रखा। जिसमें वह नियमित रूप से अपने दोस्तों और रिश्तेदारों से मिलने के लिए ब्रेक लेती थी। इससे उनका माइंड भी फ्रेश रहता था और तैयारी के लिए ध्यान केंद्रित करना आसान होता था।
इसी के साथ वह कहती है "कड़ी मेहनत ही इंसान को सफल बनाती है" बिना हार माने कड़ी मेहनत करते जाएं और देखिया आपको सफलता जरूर मिलेगी। साथ ही उन्होंने यूपीएससी परीक्षा की तैयारी कर रहे छात्रों को अनुशासित रहने के लिए सलाह दी।
बता दें कि हार ना मानने वाली बात उन्होंने इसलिए भी कही क्योंकि वह खुद यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2022 के रिजल्ट का इंतजार करते हुए, 2023 में होने वाली परीक्षा की तैयारी कर रही थी।
गरिमा ने अपने स्कसेस मंत्रा के बारे में बताते हुए कहा कि "प्रेरणा, स्वाध्याय और विश्लेषण किसी को भी परीक्षा में सफल बनाएंगे। उचित मार्गदर्शन भी जरूरी है।"
वह कहती है कि परीक्षा की तैयारी करने की हर व्यक्ति की रणनीति अलग-अलग होती है। आमतौर पर मैं 15 घंटे पढ़ाई करती थी। जिसमें मैंने में ऑनलाइन शिक्षा के साथ विभिन्न पुस्तकों की भी सहायता ली। इसके साथ उन्होंने बताया कि वह बेहतर तैयारी के लिए आपको जहां सहस महसूस करते हैं वहीं पढ़ाई करें।
गरिमा ने अपनी सफलता पर क्या कहा
रिजल्ट के बाद जब गरिमा से बातचीत की गई और पूछा गया कि उन्हें सबसे अधिक किसने प्रेरित किया है, तो उन्होंने अपनी मां का नाम लिया और कहा कि मेरी मां ने तैयारी के दौरान मुझे बहुत अधिक प्रेरित किया है, वह मेरे साथ जागा करती थी। ताकि मैं अच्छे से पढ़ सकूं।
अपनी सफलता पर उन्होंने अपने पिता का भी जिक्र किया। गरिमा के पिता का नाम नारायण प्रसाद लोहिया का निधन 2015 हुआ था। उन्होंने नम आखों से अपने पिता को याद करते हुए बताया कि मेरी सफलता के पिछे सबसे बड़ा आशीर्वाद मेरे पिता का है। गरिमा की सबसे सबसे बड़ी प्रेरणा उनके पिता थे, जिनकी तस्वीर उन्होंने हर जगह रखी है। साथ ही उन्होंने अपने सभी सलाहकार और परिवार को धन्यवाद किया।
जब उनसे, उनके आगे की तैयारी के लिए पूछा गया तो उन्होंने बताया कि "मैं एक IAS अधिकारी बनने की ख्वाहिश रखती हूं, ताकि मैं जमीनी स्तर पर आम लोगों के सामने आने वाले मुद्दों को हल कर सकूं। मैं बिहार की सेवा करना चाहती हूं। मुझे राज्य से बहुत कुछ मिला है, इसलिए मैं राज्य में लौटने के लिए भी जिम्मेदार महसूस करती हूं।"
उनकी सफलता पर बिहार के सीएम ने उन्हें शानदार सफलता के लिए बधाई दी और उज्जवल भविष्य की कामना की।
क्या है गरिमा लोहिया की सबसे खास बात
जहां सब यूपीएससी की तैयारी करने के लिए दिल्ली आते हैं ताकि विभिन्न शैक्षिक केंद्रों में प्रवेश प्राप्त कर बेहतर तैयारी कर सकें, वहां गरिमा लोहिया दिल्ली से अपनी शिक्षा प्राप्त कर यूपीएससी सिविल सेवा की तैयारी के लिए अपने मूल शहर बक्सर (बिहार) वापस गई।